Amazon ने AWS और अन्य विभागों में सैकड़ों नौकरियां काटीं, AI के कारण हुआ कर्मचारियों में कटौती
एमाज़ॉन ने AWS में सैकड़ों नौकरियां काटीं
एमाज़ॉन ने इस हफ़्ते अपने क्लाउड कंप्यूटिंग यूनिट Amazon Web Services (AWS) में सैकड़ों नौकरियों में कटौती की है। दो सूत्रों ने इसकी पुष्टि की है। यह कदम ठीक उसी महीने आया है जब CEO एंडी जैसी ने चेतावनी दी थी कि जेनरेटिव AI टूल्स के बढ़ते इस्तेमाल से कर्मचारियों की संख्या घट सकती है।
एमाज़ॉन के प्रवक्ता ने नौकरी कटौती को स्वीकार तो किया, लेकिन सही आंकड़ा बताने से इनकार कर दिया। कंपनी के मार्च तक दुनियाभर में 16 लाख फुल-टाइम और पार्ट-टाइम कर्मचारी थे।
टेक कंपनियों की लेटेस्ट ट्रेंड?
एमाज़ॉन अब माइक्रोसॉफ्ट, मेटा और CrowdStrike जैसी कंपनियों की सूची में शामिल हो गया है, जिन्होंने इस साल लेयॉफ़्स की घोषणा की है। कई बड़े कॉर्पोरेट्स अब AI का इस्तेमाल करके सॉफ़्टवेयर कोड लिख रहे हैं या रूटीन कामों को ऑटोमेट करने के लिए AI एजेंट्स अपना रहे हैं। शायद यही वजह है कि लागत कम करने और इंसानी निर्भरता घटाने की कोशिशें तेज़ हुई हैं।
लेकिन सवाल यह भी है कि क्या यह ट्रेंड लंबे समय तक चलेगा? कुछ एक्सपर्ट्स का मानना है कि AI से कुछ भूमिकाएं ख़त्म होंगी, जबकि नई भूमिकाएं भी बनेंगी। मुमकिन है, यह बदलाव का दौर हो।
पिछले कुछ महीनों में लगातार कटौती
यह पहली बार नहीं है जब एमाज़ॉन ने नौकरियां काटी हैं। पिछले कुछ महीनों में कंपनी ने अपनी बुक्स, डिवाइसेज़ और सर्विसेज़ यूनिट के साथ-साथ Wondery पॉडकास्ट डिवीज़न में भी कर्मचारियों की संख्या घटाई है। फाइल फोटो में देखा जा सकता है कि कैसे कंपनी का फोकस धीरे-धीरे बदल रहा है।
तो क्या यह सिर्फ़ एमाज़ॉन की समस्या है? ज़ाहिर है, नहीं। पूरा टेक सेक्टर इस समय किसी न किसी तरह के बदलाव से गुज़र रहा है।
AI का बढ़ता दख़ल
जेनरेटिव AI टूल्स जैसे ChatGPT और अन्य प्लेटफ़ॉर्म्स ने कॉर्पोरेट्स के लिए काम करने के तरीके को ही बदल दिया है। अब कोड लिखने से लेकर कस्टमर सर्विस तक, कई कामों में AI की मदद ली जा रही है। और यह स्पष्ट है कि इसका असर कर्मचारियों पर पड़ेगा।
हालांकि, कुछ लोगों का यह भी कहना है कि AI पूरी तरह से इंसानों की जगह नहीं लेगा। बल्कि, यह उनके काम को आसान बनाने का ज़रिया बनेगा। लेकिन फिलहाल तो लेयॉफ़्स का सिलसिला जारी है।
कर्मचारियों पर क्या असर पड़ रहा है?
जिन कर्मचारियों की नौकरियां जा रही हैं, उनके लिए यह वक्त मुश्किल भरा है। टेक सेक्टर में अभी भी हायरिंग स्लो है, और नई नौकरी ढूंढना आसान नहीं। कुछ लोगों को शायद दूसरी स्किल्स सीखनी पड़ेंगी ताकि वे मार्केट की नई मांगों के अनुकूल हो सकें।
एमाज़ॉन ने पिछले साल भी बड़े पैमाने पर लेयॉफ़्स किए थे। उस समय कंपनी ने 18,000 से ज़्यादा नौकरियां काटी थीं। अब फिर से यही ट्रेंड दिख रहा है।
आगे क्या होगा?
अगर टेक कंपनियों का यही रुख़ रहा, तो आने वाले समय में और भी नौकरियां जा सकती हैं। ख़ासकर उन सेक्टर्स में जहां AI आसानी से काम संभाल सकता है। लेकिन यह भी संभव है कि नई तकनीक के साथ नए अवसर भी पैदा हों।
फिलहाल तो एमाज़ॉन और दूसरी कंपनियों के कर्मचारियों के लिए यह अनिश्चितता का दौर है। देखना यह है कि आने वाले महीनों में स्थिति कैसे बदलती है।