भारतीय क्रिकेट के युवा सितारे शुभमन गिल अब एक नई भूमिका में नजर आएंगे, क्योंकि 20 जून से वह भारत की टेस्ट टीम की कप्तानी संभालने जा रहे हैं। 25 वर्षीय गिल को यह जिम्मेदारी रोहित शर्मा के संन्यास के बाद दी गई है। भारतीय क्रिकेट के ‘प्रिंस’ के रूप में गिल अब अपनी कप्तानी से टीम को नई ऊंचाइयों पर ले जाने की चुनौती का सामना करेंगे। ऐसे में, गिल को दक्षिण अफ्रीका के पूर्व कप्तान ग्रेम स्मिथ से प्रेरणा मिल सकती है, जिन्होंने अपने शुरुआती दिनों में इसी तरह के कठिन दौर का सामना किया था।
ग्रेम स्मिथ के नेतृत्व से सीखना
2003 में जब दक्षिण अफ्रीका के ओडीआई विश्व कप में निराशाजनक प्रदर्शन के बाद ग्रेम स्मिथ को कप्तानी सौंपी गई, तब उन्होंने 22 साल की उम्र में शॉन पोलॉक से कप्तानी की बागडोर ली। उनका पहला विदेशी टेस्ट दौरा इंग्लैंड था, जहां उन्हें एक कठिन चुनौती का सामना करना पड़ा। इंग्लैंड के मीडिया के दबाव और अपेक्षाओं के बावजूद, स्मिथ ने अपनी बल्लेबाजी से टीम को नेतृत्व प्रदान किया और शानदार प्रदर्शन किया।
बर्मिंघम में पहले टेस्ट मैच में स्मिथ ने दोहरा शतक जड़ा, और फिर लॉर्ड्स में दूसरे टेस्ट में भी दोहरा शतक लगाकर अपनी टीम को जीत दिलाई। इस प्रदर्शन के लिए उन्हें मैच के सर्वश्रेष्ठ खिलाड़ी का पुरस्कार भी मिला। स्मिथ ने इस सीरीज के दौरान 714 रन बनाकर दक्षिण अफ्रीका को 2-2 से ड्रा करने में मदद की।
क्या गिल स्मिथ जैसी बल्लेबाजी कर पाएंगे?
स्मिथ ने जिस तरह से खुद को संकट के समय में सामने रखा, उसी तरह गिल को भी अपनी बल्लेबाजी से भारतीय टीम को मुश्किल समय में सहारा देना होगा। गिल ने अपनी अब तक की यात्रा में कई अच्छे प्रदर्शन किए हैं, लेकिन विदेशों में उनका रिकॉर्ड उम्मीदों के मुताबिक नहीं रहा। विशेष रूप से 2020-21 में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ शानदार शुरुआत के बावजूद, विदेशों में गिल का औसत 25.4 का रहा है, जिसमें केवल दो अर्धशतक हैं। ऐसे में गिल को इंग्लैंड जैसी परिस्थितियों में अपनी बल्लेबाजी में सुधार करना होगा।
वरिष्ठ खिलाड़ियों का प्रबंधन
गिल के सामने एक और बड़ी चुनौती होगी – अपने टीम के वरिष्ठ खिलाड़ियों का नेतृत्व करना। जैसे स्मिथ को अनुभवी खिलाड़ियों जैसे जैक्स कैलिस, गैरी कर्स्टन और हर्शल गिब्स के साथ काम करना पड़ा था, वैसे ही गिल को जसप्रीत बुमराह और केएल राहुल जैसे खिलाड़ियों का नेतृत्व करना होगा, जिन्होंने पहले भारत की कप्तानी की है। गिल को यह संतुलन बनाना होगा कि वह एक सशक्त नेतृत्व दिखाएं और टीम के सभी खिलाड़ियों के साथ अच्छे संबंध बनाए रखें।
शुभमन गिल के नेतृत्व में एक नई शुरुआत
शुभमन गिल भारतीय क्रिकेट में एक नया अध्याय लिखने जा रहे हैं, लेकिन इसके लिए उन्हें कई चुनौतियों का सामना करना होगा। वह ग्रेम स्मिथ से प्रेरणा लेकर अपनी कप्तानी को सफल बना सकते हैं। स्मिथ ने दक्षिण अफ्रीका को शानदार नेतृत्व प्रदान किया और अंत में टेस्ट क्रिकेट में सबसे सफल कप्तान बन गए। गिल में भी वह जोश और प्रेरणा है, जो भारतीय क्रिकेट को नई ऊंचाइयों पर ले जा सकता है।
निष्कर्ष
जब शुभमन गिल इंग्लैंड के खिलाफ पहले टेस्ट में हेडिंग्ले में टॉस करने जाएंगे, तो उनके हर कदम पर सबकी नजरें रहेंगी। 25 वर्षीय गिल के कंधों पर जिम्मेदारी है, और उन्हें आने वाली चुनौती से निपटने के लिए पूरी तरह तैयार रहना होगा। क्या वह ग्रेम स्मिथ की तरह अपनी कप्तानी में क्रिकेट की दुनिया में नाम कमा पाएंगे? यह समय ही बताएगा।